Valmiki Ramayan ki Rachna : आदिकवि महर्षि वाल्मीकि और रामायण की रचना?
“रघुकुलनन्दन! में प्रचेता (वरुण) का दसवां पुत्र हूँ. मेरे मुंह से आज तक कोई झूठी बात नहीं निकली है. मैंने कई हजार वर्षों तक भारी तपस्या की है. मैंने मन, वाणी और क्रिया द्वारा भी पहले कभी कोई पाप नहीं किया है.” […]