Indian Rivers- भारत की नदियां, आसान शब्दों में समझिए सभी महत्वपूर्ण और रोचक तथ्य

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भारत की नदियां (Rivers of India)

Indian River System Map in Hindiभारत नदियों (Rivers of India) का देश है, जहां लगभग 4,000 छोटी-बड़ी नदियां बहती हैं. भारत की लगभग 77 प्रतिशत नदियां बंगाल की खाड़ी (Bay of Bengal) में गिरती हैं और 23 प्रतिशत नदियां अरब सागर (Arabian Sea) में. भारत में नदियों के अपवाह को मुख्य रूप से दो भागों में बांटा गया है- हिमालय का अपवाह और प्रायद्वीपीय अपवाह.

नोट- अपवाह (Drainage) का अर्थ जल धाराओं या धरती पर नदियों के प्रवाह या धारा से है. अपवाह तंत्र (Drainage system) का मतलब नदियों की उत्पत्ति और समय के साथ उनके विकास से है, वहीं अपवाह प्रतिरूप (Drainage Pattern) का अर्थ नदियों के ज्यामितीय रूप और स्थानीय व्यवस्था से है.

यानी भारत में नदियों को मुख्य रूप से 2 भागों में बांटा गया है-

(1) हिमालय से निकलने वाली नदियां,
(2) प्रायद्वीपीय भाग (भारत) से निकलने वाली नदियां.

(1) हिमालय से निकलने वाली नदियां-

हिमालय से निकलने वाली नदियां (Himalaya ki nadiya) तीन प्रमुख और अंतरराष्ट्रीय नदियों (सिंधु, गंगा और ब्रह्मपुत्र) से जुड़ी हुई हैं, इसलिए हिमालय के अपवाह को तीन भागों में बांटा गया है

(A) सिंधु नदी प्रणाली (Sindhu River System Map)- सिंधु और उसकी सहायक नदियां जैसे- झेलम, चिनाब, रावी, व्यास, सतलज आदि.
(B) गंगा नदी प्रणाली (Ganga River System Map)- गंगा और उसकी सहायक नदियां जैसे- यमुना, चंबल, सोन, रामगंगा, शारदा, बेतवा, घाघरा (सरयू), गंडक, कोसी, दामोदर आदि.
(C) ब्रह्मपुत्र नदी प्रणाली (Bramhaputra River System Map)- ब्रह्मपुत्र और उसकी सहायक नदियां जैसे- सुबनसिरी, धनसिरी, तीस्ता, मनसा, संकोश आदि.

इन तीनों नदियों (सिंधु, गंगा और ब्रह्मपुत्र) और इनकी सहायक नदियों को अपना जल हिमनदों (Glaciers) और और वर्षा से मिलता है. कहा जाता है कि सिंधु, सतलज, गंगा, काली, गंडक, कोसी, तीस्ता और ब्रह्मपुत्र नदियां हिमालय से भी ज्यादा पुरानी हैं, इसलिए इन्हें ‘पूर्ववर्ती नदियां’ भी कहते हैं.

हिमालय (Himalaya) में सभी नदियों के रास्ते टेढ़े-मेढ़े हैं और वहां से आते समय ये कई छोटे-बड़े झरने (जलप्रपात), खड़े ढाल, खड्डे और नदी बेसिन बनाती हैं, लेकिन आगे बढ़कर मैदानों में ये अपने-अपने रास्ते बदल लेती हैं और अनेक भागों में बंट जाती हैं.

indian river system map (भारत की नदियां)
Credit- mapsofindia.com

(2) प्रायद्वीपीय भारत की नदियां-

प्रायद्वीपीय भारत एक बहुत ही प्राचीन और स्थिर भूभाग है, इसलिए यहां की नदियां भी हिमालय की तुलना में ज्यादा पुरानी हैं, जैसे गोदावरी नदी को ‘वृद्ध गंगा’ भी कहा जाता है. प्रायद्वीपीय भारत की नदियों (Praydeep rivers) के रास्ते लगभग निश्चित हैं और यहां की नदियों की ढाल धीमी है. यहां की ज्यादातर नदियां बंगाल की खाड़ी में, कुछ अरब सागर में और कुछ विशाल मैदान की तरफ बहती हुई गंगा और यमुना में मिल जाती हैं.

प्रायद्वीपीय भारत की नदियों को दो भागों में बांटा गया है-

(A) बंगाल की खाड़ी में गिरने वाली नदियां- गोदावरी, कावेरी, कृष्णा, तुंगभद्रा, महानदी, ब्राह्मणी, वैतरणी, स्वर्णरेखा, पेन्नार, पलार, वैगई और ताम्रपर्णी नदी आदि.
(B) अरब सागर में गिरने वाली नदियां- नर्मदा, ताप्ती, साबरमती, माही, लूनी, घग्घर, सोम आदि.

नोट- प्रायद्वीप (Peninsula) का मतलब धरातल के उस भाग से है, जो तीन तरफ से जल से और एक तरफ से स्थल से घिरा हो. जैसे भारत का दक्षिणी भाग (South India) तीन तरफ से जल से घिरा हुआ है. भारत के दक्षिण में हिंद महासागर, पश्चिम में अरब सागर और पूर्व में बंगाल की खाड़ी स्थित है. तीन ओर से जल से घिरा होने की वजह से ही इसे प्रायद्वीपीय भारत (Peninsular India) कहा जाता है.

नोट- नदी बेसिन- नदी बेसिन (River Basin) या जलसंभर या द्रोणी उस पूरे क्षेत्र को कहते हैं, जिसका निर्माण बारिश के जल या पिघली हुई बर्फ के जल के इकट्ठे होकर नदी में मिलने की वजह से होता है. या जिस क्षेत्र में जल की छोटी-छोटी धाराएं मिलकर जल को इकट्ठा करती हैं…और फिर किसी नदी में जाकर मिल जाती हैं, उस क्षेत्र को उस नदी का बेसिन कहा जाता है. या वह क्षेत्र जहां बारिश या पिघली बर्फ का पानी नदियों, नहरों और नालों से बहकर एक ही स्थान पर इकठ्ठा हो जाता है.

नोट- सहायक नदियां- जब कई छोटी-छोटी नदियां या झरने किसी बड़ी नदी से जाकर मिल जाती हैं, तो उन छोटी-छोटी नदियों को ही बड़ी नदी की सहायक नदियां कहा जाता है.


(1) हिमालय से निकलने वाली नदियां-

(A) सिंधु नदी प्रणाली या तंत्र (Indus River System)

indian river system- Sindhu River (सिंधु नदी)

सिंधु नदी (Sindhu River) दुनिया के सबसे बड़े नदी तंत्रों में से एक है और भारतीय उपमहाद्वीप की तीनों मुख्य नदियों (सिंधु, गंगा और ब्रह्मपुत्र) में सबसे लंबी है. भारतीय उपमहाद्वीप में सिंधु सबसे पश्चिमी नदी तंत्र है. सिंधु नदी मुख्य रूप से भारत, पाकिस्तान और पश्चिमी तिब्बत में बहती है, लेकिन इसका ज्यादातर भाग पाकिस्तान में ही है. इसलिए यह नदी पाकिस्तान की सबसे लंबी और राष्ट्रीय नदी है. सिंधु नदी का वर्णन ऋग्वेद में भी हुआ है.

उद्गम और मुहाना- सिंधु नदी तिब्बत के मानसरोवर झील के पास से (कैलाश चोटी के पास से) निकलती है. यहां से यह तिब्बत और कश्मीर के बीच बहती है… और फिर नंगा पर्वत के उत्तरी भाग से घूमती हुई यह नदी दक्षिण-पश्चिम में पाकिस्तान के बीच से गुजरती है और फिर अरब सागर में जाकर मिल जाती है.

लंबाई- सिंधु नदी की लंबाई लगभग 3,200 किलोमीटर है, लेकिन भारत में इसकी लंबाई 1,114 किलोमीटर के आसपास ही है (भारत की सबसे लंबी नदी गंगा और फिर गोदावरी है). इस नदी का जलग्रहण क्षेत्र लगभग 11.65 लाख वर्ग किलोमीटर है.

सहायक नदियां- सिंधु नदी की मुख्य सहायक नदियां- झेलम (वितस्ता), चिनाव, व्यास, रावी और सतलज हैं. अन्य सहायक नदियां- गिलगिट, स्वात, काबुल, कुर्रम, गोमल, संगर, टोची हैं. सिंधु नदी को तिब्बत में ‘सिंगी खंबन’ या ‘लायंस माउथ’ कहा जाता है.

सिंधु की मुख्य सहायक नदियां-

चिनाब नदी (अस्किनी) (Chenab River)-
• सिंधु की सबसे बड़ी सहायक नदी है.
• पीरपंजाल में एक गहरा गार्ज (महाखड्ड या V आकार की घाटी) बनाती है.
उद्गम- हिमालय की चंद्रा और भागा नाम की दो नदियों के संगम से बनी है, जो हिमाचल प्रदेश के लाहौल जिले के बारा लाप्चा दर्रे से निकलती हैं.
मुहाना/संगम- जम्मू क्षेत्र से होकर पंजाब, पाकिस्तान के मैदानी इलाकों में बहती हुई सतलज नदी से जाकर मिल जाती है.
लंबाई- लगभग 1,180 किलोमीटर.

सतलज (शतुद्रि) (Sutlej River)-
• पंजाब के रूपनगर में भांखड़ा-नागल बांध और गोविंद जलाशय इसी नदी पर बने हैं.
• इस नदी का स्थानीय नाम ‘लोगचेन खम्बाव’ है.
उद्गम- मानसरोवर झील के पास राकस ताल से निकलती है.
मुहाना/संगम- पाकिस्तान से बहती हुई चिनाब नदी में जाकर मिल जाती है.
लंबाई- लगभग 1,450 किलोमीटर (भारत में लगभग 1,050 किलोमीटर).

झेलम (वितस्ता) (Jhelum River)
• यह कश्मीर की सबसे महत्वपूर्ण नदी है, जहां इसे ‘व्यथ’ भी कहा जाता है.
उद्गम- यह नदी जम्मू-कश्मीर के वेरीनाग या शेषनाग (पीरपंजाल) से निकलती है
मुहाना/संगम- चिनाब नदी से मिल जाती है.
लंबाई- लगभग 724 किलोमीटर.

व्यास (विपाशा या अर्जिकिया) (Vyas River)-
• सिकंदर के सैनिकों ने इसी नदी को पार करने से मना कर दिया था, तब वह यहीं से वापस लौट गया था.
उद्गम- कुल्लू के रोहतांग दर्रे के पास व्यास कुंड से.
मुहाना/संगम- सतलज नदी में मिल जाती है.
लंबाई- लगभग 470 किलोमीटर.

रावी (पुरुष्णी या इरावती) (Ravi River)-
• चिनाब नदी की एक सहायक नदी.
• धौलाधार श्रेणी के बीच एक गहरा गार्ज बनाती है.
उद्गम- कुल्लू में रोहतांग दर्रे के पास से.
मुहाना/संगम- झेलम और चिनाब की संयुक्त धारा में मिल जाती है.
लंबाई- लगभग 725 किलोमीटर.


(B) गंगा नदी प्रणाली या तंत्र (Ganga river system)

indian river system- ganga river (गंगा नदी)

गंगा बेसिन भारत का सबसे बड़ा नदी बेसिन है और गंगा भारत की सबसे लंबी नदी है. यह भारत की राष्ट्रीय नदी है, जो बांग्लादेश को पार करके बंगाल की खाड़ी में जाकर मिल जाती है.

लंबाई गंगा नदी (Ganga River) की लंबाई लगभग 2,525 किलोमीटर है. इसकी लंबाई भारतीय उपमहाद्वीप की दो और प्रमुख नदियों- सिंधु और ब्रह्मपुत्र से छोटी है, लेकिन भारत के बंटवारों के कारण इन दोनों नदियों का एक बड़ा भाग भारत की सीमा से बाहर चला गया है, जबकि गंगा का लगभग पूरा भाग भारत में ही बहता है…और इसी वजह से गंगा भारत की सबसे लंबी नदी है.

उद्गम और बहाव या फैलाव- गंगा उत्तराखंड के उत्तरकाशी जिले में माना दर्रे के पास गोमुख हिमनद (Gomukh Glacier) से निकलती है. यहां गंगा को ‘भागीरथी’ कहा जाता है. यानी भागीरथी ही गंगोत्री हिमनद से निकलती है. यहां से यह वृहद हिमालय और लघु हिमालय में महाखड्डों का निर्माण करके आगे बढ़ती है… और देवप्रयाग (उत्तराखंड) में अलकनंदा से मिल जाती है.

अलकनंदा सतोपंथ हिमनद (बद्रीनाथ के उत्तर में नीति दर्रे के पास) से निकलती है और चमोली, टिहरी और पौढ़ी गढ़वाल से होकर बहती है. बद्रीनाथ अलकनंदा के तट पर ही स्थित है. भागीरथी जब देवप्रयाग में अलकनंदा से मिलकर आगे बढ़ती है, तब यह ‘गंगा’ कहलाती है, जो ऋषिकेश से बहते हुए हरिद्वार में आकर भारत के मैदानों में प्रवेश करती है.

यहां आकर गंगा दाईं तरफ (पश्चिम) मुड़कर प्रयाग (Prayag) में यमुना से मिलती है, जिसे ‘संगम’ कहा जाता है. वहीं, गंगा की बाईं तरफ पश्चिम से पूर्व तक इसकी मुख्य सहायक नदियां- रामगंगा, गोमती, घाघरा (सरयू), गंडक, बूढ़ी गंडक, बागमती, महानंदा और कोसी हैं.

गंगा नदी के किनारे हरिद्वार, कानपुर, प्रयाग, वाराणसी, पटना, मिर्जापुर, मुर्शिदाबाद जैसे महत्वपूर्ण नगर स्थित हैं. गंगा नदी की सबसे ज्यादा लंबाई उत्तर प्रदेश (UP) में है.

जब गंगा पश्चिम बंगाल में पहुंचती है, तो ‘भागीरथी’ और ‘हुगली’ नाम से दो भागों में बंट जाती है. आगे चलकर छोटा नागपुर पठार की दामोदर नदी, हुगली में आकर मिल जाती है.

मुहाना– हुगली कोलकाता से होकर बहती हुई भागीरथी बांग्लादेश में प्रवेश करती है, जहां इसे ‘पद्मा’ कहा जाता है. यहां से गंगा (पद्मा) कई धाराओं में बैठकर डेल्टाई मैदान में दक्षिण की तरफ बहती हुई समुद्र में मिल जाती है.

गंगा-ब्रह्मपुत्र मिलकर दुनिया का सबसे बड़ा डेल्टा बनाती हैं. यहां सुंदर वृक्ष (मैंग्रोव) ज्यादा हैं, इसलिए यह ‘सुंदरवन का डेल्टा’ कहलाता है.

नोट- डेल्टा क्या है- जब कोई नदी बहना शुरू करती है, तो वह अपने रास्ते में काट-छांट भी करती रहती है और अपने साथ बहुत कुछ बहाकर लाती रहती है. ये सारा मलबा या अवसाद नदियों के मुहाने के पास जमा होता चला जाता है. इससे एक विशेष तरह का आकार बनने लगता है, जिसे ही डेल्टा कहा जाता है. ये अक्सर त्रिभुजाकार (Δ) होता है. यानी नदियों द्वारा अपने साथ बहाकर लाया गया अवसाद या मलबा जहां इकट्ठा हो जाता है, उसे डेल्टा कहते हैं. यह स्थान बहुत उपजाऊ होता है.

पंच प्रयाग (Panch Prayag)-

विष्णुप्रयाग- जहां अलकनंदा नदी धौली गंगा नदी से मिलती है.
नंदप्रयाग- जहां अलकनंदा नदी नंदाकिनी नदी से मिलती है.
कर्णप्रयाग- जहां अलकनंदा नदी पिंडर नदी से मिलती है.
रुद्रप्रयाग- जहां अलकनंदा नदी मंदाकिनी नदी से मिलती है.
देवप्रयाग- जहां अलकनंदा नदी भागीरथी नदी से मिलती है.

गंगा की मुख्य सहायक नदियां-

यमुना नदी (Yamuna River)-
• गंगा की सबसे लंबी और सबसे पश्चिमी सहायक नदी है.
उद्गम- बन्दरपूंछ के पश्चिमी ढाल में यमुनोत्री हिमनद से निकलती है.
संगम या मुहाना- प्रयाग में जाकर गंगा से मिल जाती है.
तट पर बसे मुख्य नगर- दिल्ली, मथुरा, आगरा, इटावा, कालपी, हमीरपुर.
लंबाई- 960 से 1,375 किलोमीटर के बीच.

घाघरा (पौराणिक सरस्वती, कर्णाली) (Ghaghra River)-
• गंगा नदी की एक प्रमुख उपनदी
• पहाड़ी भाग में ‘कर्णाली’ और मैदानी भागों में ‘घाघरा’ या ‘सरयू’ के नाम से जानी जाती है.
उद्गम- मानसरोवर झील के पास स्थित भारचाचुंगार हिमनद से.
संगम या मुहाना- छपरा सीमा पर गंगा नदी में मिल जाती है.
लंबाई- लगभग 1,080 किलोमीटर.

ब्रह्मपुत्र नदी (Brahmaputra river)-
• गंगा में मिलने वाली सबसे बड़ी नदी.
उद्गम- मानसरोवर झील के पास चेमायुंगडुंग हिमनद से निकलती है.
संगम या मुहाना- पद्मा (गंगा) से मिल जाती है.
लंबाई- लगभग 2,900 किलोमीटर (भारत में करीब 900 किलोमीटर)

चम्बल नदी (Chambal River)-
• राणा प्रताप सागर, गांधी सागर और जवाहर सागर बांध इसी नदी पर बने हैं.
उद्गम- मध्य प्रदेश में महू के पास जानापाव पहाड़ी से निकलती है.
संगम या मुहाना- इटावा के पास यमुना नदी में मिल जाती है.
लंबाई- लगभग 960 किलोमीटर.

गोमती नदी (Gomti River)-
उद्गम- उत्तर प्रदेश के पीलीभीत जिले में फुल्हर झील से.
संगम या मुहाना- उत्तर प्रदेश के गाजीपुर के पास गंगा में मिल जाती है.
लंबाई- लगभग 900 किलोमीटर.

सोन नदी (सोनभद्र शिला) (Son River)-
उद्गम- मध्य प्रदेश के अनूपपुर जिले में अमरकंटक के पास से निकलती है.
संगम या मुहाना- पटना में गंगा नदी में मिल जाती है.
लंबाई- लगभग 780 किलोमीटर.

कोसी नदी (Kosi River)-
• यह नदी रास्ते बदलने और अचानक बाढ़ के लिए जानी जाती है.
• इसे बिहार का शोक या बिहार का अभिशाप कहा जाता है.
उद्गम- तिब्बत में गोसाइथान पर्वत के उत्तर से.
संगम या मुहाना- भागलपुर के पास गंगा में मिल जाती है.
लंबाई- लगभग 729 किलोमीटर

रामगंगा नदी (Ramganga)-
• इस नदी का पौराणिक नाम ‘रथवाहिनी’ है.
उद्गम- उत्तराखंड में कुमाऊं हिमालय से निकलती है.
संगम या मुहाना- कन्नौज के पास गंगा नदी में मिल जाती है.
लंबाई- लगभग 610 किलोमीटर.

गंडक नदी (सप्तगंडकी, सदानीरा) (Gandak)-
• यह नदी नेपाल में सालिग्रामि और मैदानों में नारायणी नाम से जानी जाती है.
उद्गम- हिमालय की अन्नपूर्णा पहाड़ियों के पास स्थित मागांपोर्ट और कुतांग से निकलती है.
संगम या मुहाना- पटना के पास सोनपुर में गंगा से मिल जाती है.
लंबाई- 630 से 800 किलोमीटर के बीच (भारत में लगभग 300 किलोमीटर).

दामोदर नदी (Damodar River)-
• ‘बंगाल का शोक’ या ‘बंगाल का अभिशाप’
• पनबिजली परियोजना दामोदर घाटी परियोजना
उद्गम- झारखण्ड के छोटा नागपुर क्षेत्र से निकलती है.
संगम या मुहाना- हुगली नदी से मिलकर समुद्र (बंगाल की खाड़ी) में गिर जाती है.
लंबाई- लगभग 592 किलोमीटर.

बेतवा नदी (वेत्रवती) (Betwa River)-
• बुंदेलखंड पठार की सबसे लंबी नदी
• प्रसिद्ध धाम ओरछा, सांची और विदिशा इसी नदी के तट पर हैं.
उद्गम- मध्य प्रदेश में रायसेन जिले के कुम्हारागांव से निकलती है.
संगम या मुहाना- हमीरपुर के पास यमुना में मिलती है.
लंबाई- लगभग 480 किलोमीटर.


(C) ब्रह्मपुत्र नदी प्रणाली या तंत्र (Brahmaputra river system)

indian river system- Brahmaputra river (ब्रह्मपुत्र नदी)

ब्रह्मपुत्र नदी (Brahmaputra River) का बेसिन चीन, भारत, भूटान और बांग्लादेश में फैला है. वहीं, भारत में यह बेसिन अरुणाचल प्रदेश, असम, पश्चिम बंगाल, मेघालय, नागालैंड और सिक्किम में फैला हुआ है. ब्रह्मपुत्र नदी का बेसिन मानसरोवर झील में मरियन ला दर्रे से अलग अलग हो जाता है.

ब्रह्मपुत्र नदी के अलग-अलग नाम- ब्रह्मपुत्र नदी को चीन या तिब्बत में ‘सांगपो’ और ‘यरलुंग जगंबो’, अरुणाचल प्रदेश में ‘दिहांग’ और बांग्लादेश में ‘जमुना’ और असम में ‘ब्रह्मपुत्र’ ही कहा जाता है.

ब्रह्मपुत्र नदी की लंबाई लगभग 2,900 किलोमीटर है, लेकिन भारत में इसकी लंबाई करीब 900 किलोमीटर ही है. गुवाहाटी, डिब्रूगढ़ और तेजपुर ब्रह्मपुत्र नदी के तट पर ही बसे हैं.

उद्गम और मुहाना- ब्रह्मपुत्र नदी मानसरोवर झील के पास चेमायुंगडुंग हिमनद से निकलती है. तिब्बत में बहते हुए यह नदी नामचाबरवा नाम के स्थान के पास भारत के अरुणाचल प्रदेश में प्रवेश करती है. यहां से यह नदी ‘दिहांग’ और ‘सियांग’ के नाम से आगे बढ़ती है और फिर असम में आकर ‘ब्रह्मपुत्र’ नाम से जानी जाती है.

ब्रह्मपुत्र नदी भारत में आकर असम में पश्चिम की तरफ धुबरी तक बहती है. असम में कई सहायक नदियां जैसे मानस, सुबनसिरी, कपिली, जिया, भरेली, धनसिरी, पुथीमारी, पगलादिया आदि ब्रह्मपुत्र से मिलती हैं.

यहां से आगे बढ़कर ब्रह्मपुत्र नदी तेजी से दक्षिण की तरफ मुड़कर बांग्लादेश में प्रवेश करती है. यहां तीस्ता आदि नदियां आकर ब्रह्मपुत्र से मिल जाती हैं और फिर ये सब नदियां ‘पदमा’ यानी ‘गंगा’ में मिल जाती हैं.

ब्रह्मपुत्र, गंगा में मिलने वाली सबसे बड़ी नदी है. गंगा और ब्रह्मपुत्र की मिली हुई धारा ‘मेघना’ कहलाती है. ब्रह्मपुत्र नदी, गंगा से मिलकर दुनिया के सबसे बड़े डेल्टा ‘सुंदरवन डेल्टा’ का निर्माण करते हुए बंगाल की खाड़ी में मिलती है.

एशिया का सबसे बड़ा नदी द्वीप माजुली’ ब्रह्मपुत्र नदी पर ही है, जो उत्तर में लखीमपुर जिले और दक्षिण में जोरहाट जिले से घिरा हुआ है.

गंगा-ब्रह्मपुत्र मिलकर दुनिया का सबसे बड़ा डेल्टा बनाती हैं. यहां सुंदर वृक्ष (मैंग्रोव) ज्यादा हैं, इसलिए यह ‘सुंदरवन का डेल्टा’ कहलाता है. यह भारत और बांग्लादेश में बंगाल की खाड़ी के मुहाने पर स्थित कई द्वीपों के समूह से बनता है.

ब्रह्मपुत्र की मुख्य सहायक नदियां-
दायीं तरफ से- दिबांग, लोहित, सुबनसिरी, रंगा, जिलाभरेली, मानस, संकोश और तीस्ता.
बाईं तरफ से- धनसिरि देसांग, दिक्खो आदि.

ब्रह्मपुत्र की मुख्य सहायक नदियां-

सुबनसिरी नदी (Subansiri River)-
• ब्रह्मपुत्र नदी की सबसे बड़ी सहायक या उपनदी.
• तिब्बत, अरुणाचल प्रदेश और असम में बहती है.
उद्गम- तिब्बत में हिमालय से निकलती है.
संगम या मुहाना- लखीमपुर में ब्रह्मपुत्र से मिल जाती है.
लंबाई- 422 से 442 किलोमीटर के बीच.

मानस नदी (Manas River)-
• भूटान की सबसे बड़ी नदी तंत्र या प्रणाली
• इसकी घाटी में मानस वन्यजीव अभयारण्य स्थित है.
उद्गम- तिब्बत में हिमालय से निकलती है.
संगम या मुहाना- असम के जोगिगोपा में ब्रह्मपुत्र नदी में मिल जाती है.
लंबाई- लगभग 376 किलोमीटर (भारत में 104 किलोमीटर)

धनसिरी नदी (Dhansiri River)-
• असम और नागालैंड में बहती है.
• इंटकी राष्ट्रीय उद्यान स्थित
उद्गम- नागालैंड के लेसांग पर्वत चोटी से निकलती है.
संगम या मुहाना- ब्रह्मपुत्र नदी में मिल जाती है.
लंबाई- लगभग 352 किलोमीटर.

संकोश नदी या पुना त्सांग छू (Sankosh River)-
• भूटान की प्रमुख नदी.
• भूटान की सबसे बड़ी पनबिजली परियोजना संकोश परियोजना इसी नदी पर.
उद्गम- उत्तरी भूटान से निकलती है.
संगम या मुहाना- असम में ब्रह्मपुत्र नदी में मिल जाती है.
लंबाई- लगभग 320 किलोमीटर (भारत में 107 किलोमीटर)

तीस्ता नदी (Teesta River)-
• इस नदी को सिक्किम और उत्तरी बंगाल की जीवनरेखा भी कहा जाता है.
• भारत के सिक्किम, पश्चिम बंगाल और बांग्लादेश से होकर बहती है.
उद्गम- सिक्किम की चोलामू झील से निकलती है.
संगम या मुहाना- बांग्लादेश में ब्रह्मपुत्र नदी (जमुना) में मिल जाती है.
लंबाई- लगभग 315 किलोमीटर.


(2) प्रायद्वीपीय भारत की नदियां-

(A) बंगाल की खाड़ी में गिरने वाली नदियां –

godavari river (गोदावरी नदी)

गोदावरी नदी (Godavari River)-
• प्रायद्वीपीय भारत की सबसे बड़ी नदी
• गंगा के बाद पूरे भारत की दूसरी सबसे बड़ी नदी
• गोदावरी को ‘दक्षिण गंगा’ और ‘वृद्ध गंगा’ भी कहते हैं.
• यह नदी एक बड़े डेल्टा का निर्माण करती है.
• नदी महाराष्ट्र, मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़, उड़ीसा, तेलंगाना, आंध्र प्रदेश और कर्नाटक में फैली हुई है. इसका लगभग 49 प्रतिशत भाग महाराष्ट्र में है.
उद्गम- महाराष्ट्र के नासिक जिले में त्रयंबक गांव की एक पहाड़ी से निकलती है
मुहाना- यनम के पास बंगाल की खाड़ी में गिर जाती है.
लंबाई- लगभग 1,465 किलोमीटर
मुख्य सहायक नदियां- वेन गंगा, शेष गंगा, वर्धा, सबरी और मंजरी.

कृष्णा नदी (Krishna River)-
• कृष्णा प्रायद्वीपीय भारत की दूसरी सबसे बड़ी नदी है.
• यह नदी महाराष्ट्र, कर्नाटक, तेलंगाना और आंध्र प्रदेश में फैली हुई है.
उद्गम- महाराष्ट्र में महाबलेश्वर के पास पश्चिमी घाट के एक झरने या सहयाद्री से निकलती है
मुहाना- बंगाल की खाड़ी में गिर जाती है.
लंबाई- लगभग 1,400 किलोमीटर.
मुख्य सहायक नदियां- पंचगंगा, मूसी, तुंगभद्रा, भीमा कोयना, येरिना और वरणा.

तुंगभद्रा या पंपा नदी (Tungabhadra River)-
• यह नदी तुंगा और भद्रा नदियों के मिलने से बनती है.
• विजयनगर साम्राज्य की राजधानी हम्पी इसी नदी के किनारे स्थित है.
उद्गम- कर्नाटक में पश्चिमी घाट पहाड़ की गंगामूल चोटी से निकलती है.
मुहाना- आन्ध्र प्रदेश में कुरनूल के पास कृष्णा नदी में मिल जाती है.
लंबाई- लगभग 531 किलोमीटर.

महानदी (Mahanadi)-
• उड़ीसा में बहने वाली मुख्य नदी
• ओडिशा में इसी नदी पर हीराकुंड बांध बनाया गया है.
• यह नदी मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़ और उड़ीसा में फैली हुई है.
उद्गम- छत्तीसगढ़ के रायपुर जिले में सिन्हा का के पास से निकलती है
मुहाना- कटक के पास एक बड़ा डेल्टा बनाती हुई बंगाल की खाड़ी में गिरती है
लंबाई- लगभग 858 किलोमीटर
मुख्य सहायक नदियां- शिवनाथ, हसंदो, मांदो, ईव, जोकिग, तेल.

कावेरी नदी (Kaveri River)-
• यह नदी कर्नाटक, केरल, तमिलनाडु में फैली हुई है. कावेरी नदी को ‘दक्षिण की गंगा’ भी कहा जाता है.
उद्गम- कर्नाटक की कुर्ग जिले की ब्रम्हगिरी पहाड़ियों से निकलती है
मुहाना- तमिलनाडु में बंगाल की खाड़ी में गिर जाती है
लंबाई- लगभग 800 किलोमीटर
मुख्य सहायक नदियां- तीर्थ, कबिनी, सुवर्णावती, भवानी, अमरावती (दाएं तट से) और
हेमावती, अर्कावती, शिमशा (बाएं किनारे से).

बंगाल की खाड़ी में गिरने वाली अन्य प्रमुख नदियां- ब्राह्मणी, वैतरणी, स्वर्णरेखा, पेन्नार, पलार, वैगई और ताम्रपर्णी नदी हैं.

(B) अरब सागर में गिरने वाली नदियां-

narmada river (नर्मदा नदी)

नर्मदा नदी (Narmada river)-
• अरब सागर में गिरने वाली प्रायद्वीप भारत की सबसे बड़ी नदी.
• यह नदी मध्य प्रदेश, महाराष्ट्र और गुजरात में फैली है.
• इस नदी के उत्तर दिशा में विंध्यांचल और दक्षिण दिशा में सतपुड़ा पर्वत है और यह इन्हीं के बीच भ्रंश घाटी में बहती है.
• यह नदी अमरकंटक के पास कपिलधारा और जबलपुर में भेड़ाघाट के पास धुआंधार जलप्रपात (झरना) बनाती है.
• नर्मदा और ताप्ती नदी डेल्टा की बजाय एश्चुअरी बनाती हैं.
• नर्मदा नदी पर महेश्वर, इंदिरा सागर, ओमकारेश्वर, सरदार सरोवर आदि बांध बनाए गए हैं.
उद्गम- मध्य प्रदेश में विंध्याचल पर्वत श्रेणी के अमरकंटक पहाड़ी से निकलती है
मुहाना- भड़ौच के पास ज्वारनदमुख द्वारा खंभात की खाड़ी (अरब सागर) में गिर जाती है.
लंबाई- लगभग 1,312 किलोमीटर
मुख्य सहायक नदियां- तवा, बरनेर, दूधी, शक्कर हिरन, बरना, कोनार, माचक आदि.

ताप्ती या तापी नदी (Tapti or Tapi River)
• यह नदी सतपुड़ा और अजंता पर्वतों के बीच भ्रंश घाटी से बहती है.
• यह नदी महाराष्ट्र मध्यप्रदेश और गुजरात में फैली हुई है.
उद्गम- मध्य प्रदेश के बैतूल जिले के मुल्ताई स्थान से महादेव या सतपुड़ा की पहाड़ियों से निकलती है.
मुहाना- सतपुड़ा के दक्षिण से बहती हुई खंभात की खाड़ी (अरब सागर) में गिर जाती है. यहीं पर सूरत नगर स्थित है.
लंबाई- लगभग 724 किलोमीटर

अरब सागर में गिरने वाली अन्य प्रमुख नदियां- साबरमती, माही, लूनी, घग्घर, सोम हैं.

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